बच्चे, जवान, बूढ़े, हर कोई कोरोना की चपेट में है। अभी तक लाखों लोग कोरोना संक्रमण की वजह से अपनी जान गंवा चुके हैं। इसी बीच एक अच्छी खबर आई है। एक नवजात शिशु वेंटिलेटर पर 10 दिनों के संघर्ष के बाद कोरोना को हराकर घर लौटकर आई।
ओडिशा के भुवनेश्वर में इस नवजात शिशु के ठीक
होने के बाद ये देश के ठीक होने वाले सबसे कम उम्र के लोगों में से एक बन गई है।
बच्चे का इलाज करने वाले नवजात रोग विशेषज्ञ डॉ अरिजीत महापात्रा ने कहा कि उसे
तीन हफ्ते तक महामारी से लड़ने के बाद बुधवार, 12 मई को
अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
डॉक्टर ने कहा कि 25 दिन की गुड़िया
कालाहांडी की रहने वाली है। बुखार और सांस लेने में तकलीफ के चले उसे भुवनेश्वर
रेफर किया गया था। बच्ची को आइसोलेशन आईसीयू में भर्ती कराया गया और उसे वेंटिलेटर
पर रखा गया था क्योंकि उसे मल्टीऑर्गन फेल्यर की विशेषताएं थीं। उन्होंने कहा कि
बच्ची के माता-पिता और परिवार के अन्य सदस्यों के कोरोना संक्रमित होने के बाद
बच्ची को एक निजी अस्ताल में भर्ती कराया गया था।
डॉक्टर अरिजीत महापात्रा का कहना है
कि बच्चे का आरटीपीसीआर टेस्ट किया गया जिसमें कोविड रिपोर्ट पॉजिटिव आई।
ट्रीटमेंट में डॉक्टर्स ने बच्ची को रेमडेसिविर, स्टेरॉयड और कुछ एंटीबायोटिक
दवाएं दीं। बच्ची की सेहत में सुधार शुरू हुआ। उसके बाद फिर आरटीपीसीआर टेस्ट किया
गया तो कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव आई। बच्चे को बुधवार को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई
है।